कमल नाथ मैदान छोड़ने को तैयार नहीं, सक्रियता ने बढ़ाई कई कांग्रेस नेताओं की धड़कन

भोपाल। मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव-2023 में कांग्रेस की हार के बाद से पार्टी की राजनीति में हाशिये पर चल रहे वरिष्ठ नेता कमल नाथ इन दिनों फिर सक्रिय दिखाई दे रहे हैं। यह सक्रियता संकेत दे रही है कि वे मैदान छोड़ने को तैयार नहीं हैं। उनके इस रुख की पुष्टि इससे भी होती है कि उन्होंने 21 जुलाई को धार के मांडू में पार्टी के नव संकल्प शिविर में कहा था कि मैं न थका हू्, न पका हूं, आज भी जवान हूं। इस बीच, शुक्रवार को उन्होंने छिंदवाड़ा में गोंडवाना गणतंत्र पार्टी (जीजीपी) के सैकड़ों कार्यकर्ताओं की कांग्रेस में वापसी करवाई।प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष पद से हटाए जाने और छिंदवाड़ा लोकसभा चुनाव में बेटे नकुल नाथ की पराजय के बाद से कमल नाथ प्रदेश और कांग्रेस की राजनीति से दूर भी थे। इस बीच राहुल गांधी से मुलाकात के बाद कयास लगाए जा रहे थे कि वे राष्ट्रीय स्तर पर किसी भूमिका में वापस आ सकते हैं, लेकिन ऐसा कोई निर्णय नहीं हुआ।

चर्चा में भाग नहीं लिया

मध्य प्रदेश विधानसभा के जारी मानसून सत्र में छिंदवाड़ा से विधायक कमल नाथ कई बार सदन पहुंचे और चर्चा में भी भाग लिया। कांग्रेस के नेताओं और मीडिया से मिल रहे हैं। उनकी इस सक्रियता से कांग्रेस के ही कई वरिष्ठ नेताओं की धड़कनें तेज हो गई हैं। इसकी वजह कमल नाथ का बड़ा कद है।

कमल नाथ के नेतृत्व में ही वर्ष 2018 में मध्य प्रदेश में कांग्रेस का सत्ता का वनवास समाप्त हुआ था लेकिन वर्ष 2023 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के बेहद कमजोर प्रदर्शन के बाद प्रदेश कांग्रेस की कमान जीतू पटवारी को सौंप दी गई थी। बीच में उनके भाजपा में शामिल होने की अटकलों ने भी जोर पकड़ा। हालांकि ये सही नहीं निकलीं।

कोई बड़ी जिम्मेदारी मिल सकती है

जीतू पटवारी के प्रदेश अध्यक्ष बनने के बाद जिस तरह कमल नाथ के करीबियों की निष्क्रियता बढ़ी और नए समीकरण उभर रहे थे, इस बीच अचानक कमल नाथ की सक्रियता से पार्टी में कयासों का दौर तेज हो गया है। दरअसल, कांग्रेस में केंद्रीय स्तर से लेकर प्रदेश तक कमल नाथ का जो कद रहा है, उसके अनुसार उन्हें कोई बड़ी जिम्मेदारी मिल सकती है। दूसरी संभावना यह भी है कि उनके करीबियों की प्रदेश संगठन में भागीदारी बढ़ सकती है। पिछले डेढ़ वर्षों में भाजपा सरकार के सामने बतौर मजबूत विपक्ष कांग्रेस की मौजूदगी अपेक्षाकृत कमजोर रही है।

गुटबाजी के आरोप न लगें इसलिए कम दिख रहा हूं : कमल नाथ

कमल नाथ ने गुरुवार को मीडिया के प्रश्न के जवाब में कहा था कि कम इसलिए दिख रहा हूं ताकि गुटबाजी के आरोप न लगें। इस बीच, शुक्रवार को छिंदवाड़ा के अमरवाड़ा और हर्रई के जीजीपी एवं भाजपा के 500 से अधिक कार्यकर्ता कांग्रेस में शामिल हुए। कमल नाथ ने उनसे कहा कि आप इंदिरा गांधी और राजीव गांधी के सिद्धांतों पर चलने वाली कांग्रेस पार्टी में शामिल हो रहे हैं। कांग्रेस समाज को जोड़ती है, वहीं भाजपा समाज को तोड़ती है।

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