जनता को तकलीफ हो तो हम शांत नहीं बैठ सकते:बाढ़ प्रभावितों से सीएम ने किया सीधा संवाद, तीस करोड़ की राहत राशि बांटी

मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने कहा कि जनता को तकलीफ आए तो हम शांत नहीं बैठ सकते। ऐसी असामान्य बाढ़ की कल्पना नहीं थी। संकट के समय सरकार हर पल सतर्क रही। संघर्ष के क्षण में सरकार और पीड़ितों का परिवार की तरह रिश्ता है। सरकार और समाज अलग-अलग नहीं हैं। शिवपुरी में एक पिता-पुत्र 36 घंटे तक घर की छत पर बैठे रहने को मजबूर हुए थे। जब उनसे मुलाकात हुई तो रो पड़े और कहा कि अगर प्रशासन ने मदद नहीं की होती तो जान नहीं बचती।

सीएम यादव ने ये बातें वीडियो कांफ्रेंसिंग से बाढ़ पीड़ितों को राहत राशि वितरित करने के बाद कहीं। इस दौरान सिंगल क्लिक से प्रदेश के 28400 लोगों को तीस करोड़ की राहत राशि वितरित की गई। इसके पहले 28 करोड़ रुपए राहत राशि के रूप में बांट चुके हैं। अभी फसल नुकसान सर्वे नहीं हुआ है। उसकी क्षतिपूर्ति की राशि अलग से दी जाएगी।

मऊगंज और दमोह के पीड़ितों से किया सीधा संवाद

मऊगंज और दमोह के बाढ़ और आपदा प्रभावित लोगों से सीधी बात भी सीएम डॉ मोहन यादव ने की। वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से राहत राशि वितरण के दौरान सीएम ने पीड़ितों से पूछा कि किस तरह की स्थिति बनी और प्रशासन तथा स्थानीय लोगों ने किस तरह से लोगों को सुरक्षित निकाला। दमोह की एक महिला ने कहा कि जितनी सेवा मां बाप नहीं करते, बाढ़ के दौरान वैसी सेवा प्रशासन की टीम ने की है। गांवों के सरपंच और सीईओ के द्वारा आपदा में राहत दिलाने का काम किया गया। एक ग्रामीण ने बताया कि नाव से उन्हें और गांव के अन्य लोगों को सुरक्षित निकालने का काम किया।

कलेक्टर दुबले, बाकी अफसर भी दुबले, सरपंच चकाचक

बाढ़ पीड़ितों से चर्चा के दौरान सीएम यादव ने हास परिहास भी प्रभावितों के साथ किया। दमोह के सरपंचों और प्रभावितों से चर्चा के दौरान सीएम यादव ने सरपंचों से चर्चा के दौरान कहा कि मेरे कलेक्टर भी दुबले पतले हैं और दूसरे अफसर भी दुबले पतले हैं, सरपंच साहब लोग अच्छे चकाचक दिखाई दे रहे हैं। इसके बाद ठहाके गूंजे।

गुना में पीड़ितों से पूछा, अफसरों ने अच्छा बोलने के लिए सिखाया तो नहीं है

पार्वती नदी में बाढ़ आने पर प्रशासन के लोगों ने नाव से निकाला है। मलकीत सिंह ने बताया कि रात में चार बजे प्रशासन की टीम ने सुरक्षित निकालने का काम किया है। इस दौरान सीएम यादव ने पूछा कि आपको अच्छा -अच्छा बोलने के लिए अफसरों ने सिखाया तो नहीं है। सही सही बोलना, आपको भगवान की कसम है। सीएम ने इस दौरान कहा कि गुना की प्रशासन की टीम का प्रबंधन अच्छा था। कलेक्टर किशोर कान्याल से सीएम यादव ने कहा कि गुना प्रवास के दौरान जहां वे नहीं जा पाए हैं, वहां कलेक्टर पहुंचकर लोगों की व्यवस्था की जानकारी लेंगे। उन्होंने कहा कि वे शिवपुरी गए थे।

घर में तीन फीट पानी भरा था, प्रशासन ने सहयोग किया

रायसेन में एक प्रभावित से चर्चा करते हुए सीएम ने कहा कि किस तरह की दिक्कतें आईं, प्रशासन का क्या रोल रहा? इस दौरान एक प्रभावित ने बताया कि प्रशासन की संवेदनशीलता से लोगों को समय पर राहत मिली है। संतोष राय ने कहा कि उनके घर में पानी घुसने की जानकारी दिए जाने के बाद प्रशासन की टीम ने मदद की। घर से दो से ढाई फीट पानी भर गया था। एसडीएम, तहसीलदार, पटवारी ने खाने का अलग से इंतजाम कराया और शिविर में रुकने का इंतजाम कराया। मेरा नुकसान बहुत हुआ है, प्रशासन ने सहयोग का आश्वासन दिया था। सीएम ने कहा कि दुख की घड़ी में सभी साथ हैं।

छिंदवाड़ा कलेक्टर शीलेंद्र सिंह ने पिछले महीने आई बाढ़ पीड़ितों से से सीएम की बात कराई। चंद्रमोहन मालवीय ने कहा कि जो नुकसान हुआ है उसके लिए प्रशासन ने मदद की है। सीएम ने कहा कि कष्ट और दुख की घड़ी में सरकार और प्रशासन साथ रहा। आगे भी पूरा सहयोग रहेगा।

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