धनतेरस पर कुबेर जी की पूजा करते समय रखें इन बातों का ध्यान

शास्त्रों में कुबेर महाराज को धन के अधिपति यानि धन के देवता माना गया है. पृथ्वीलोक की समस्त धन संपदा का एकमात्र उन्हें ही स्वामी बनाया गया है. हिन्दू धर्म की मान्यताओं के अनुसार माता लक्ष्मी को धन की देवी और भगवान कुबेर को धन का देवता माना जाता है. कुबेर भगवान शंकर के सेवक भी कहे जाते हैं. वैसे तो धन की प्राप्ति के लिए माता लक्ष्मी की पूजा की जाती है मगर साथ में कुबेर देवता की भी पूजा करने से धन की कभी भी कमी नहीं होती और सुख समृद्धि बनी रहती है.

खासतौर पर धनतेरस के दिन कुबेर महाराज की विधि विधान से पूजा की जाए तो घर में खुशहाली, बिजनेस में बढ़ोतरी और यश प्राप्ति होती है. उन्होंने कहा कि धनतेरस से 5 दिन तक अगर हम कुबेर महाराज की विधि विधान से पूजा करते हैं हमारे घर में मां लक्ष्मी और कुबेर की साल भर कृपा बरसेगी

इस विधि से करना होगा कुबेर महाराज का पूजन
शाम के समय प्रदोष काल में सूर्यास्त होने से 24 मिनट पहले और 24 मिनट बाद तक यानी की 48 मिनट तक प्रदोष काल 12 महीने रहता है. कुबेर महाराज की पूजा करें, मंदिर में कुबेर महाराज के प्रतिमा के सामने स्नान आदि करके कुबेर महाराज का पूजन करके एक कलश स्थापना करें. उस कलश में पंचरत्न, पंचगव्य, गौशाला की मिट्टी एक चांदी का सिक्का उसके ऊपर एक नारियल चढ़ा दें.

लगातार धनतेरस से 5 दिन आपको पूजा करनी पड़ेगी. उसके बाद अगर आप कृषि करते हैं तो आपको इस कलश को 2 फुट उसे जमीन पर गढ़ देना है यदि आप बिजनेस इत्यादि घर में समृद्धि लाना चाहते हैं तो उसे कलश को अपनी तिजोरी में रखें या फिर घर के मंदिर के स्थान पर रख दें. इससे आपके बिजनेस में लाभ जरूर मिलेगा.

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