बैंक डायरेक्टर की सहायिका बन एलआइसी एजेंट को ठगी के जाल में फंसाया, 57 लाख रुपये ऐंठे

भोपाल। भोपाल में एक चौंकाने वाला साइबर फ्रॉड का मामला सामने आया है, जिसमें एक एलआईसी एजेंट को देश के बड़े निजी बैंक के डायरेक्टर की फर्जी सहायिका बनकर एक युवती ने ठगी का शिकार बना लिया।

सोशल मीडिया और वॉट्सऐप ग्रुप के माध्यम से हुए इस जालसाज़ी में पीड़ित से कुल 57 लाख रुपये हड़प लिए गए। भरोसा दिलाने के लिए फर्जी निवेश ऐप और ग्रुप का इस्तेमाल किया गया। भोपाल साइबर क्राइम सेल ने प्रकरण दर्ज कर जांच शुरू कर दी है

सोशल मीडिया से शुरू हुई साजिश

43 वर्षीय लक्ष्मीनारायण चौरसिया, निवासी न्यू चौकसे नगर, एलआईसी एजेंट हैं। कुछ दिन पहले उन्हें इंटरनेट मीडिया पर "ICICI Securities" नामक एक पेज दिखा, जिसे क्लिक करने पर उन्हें वॉट्सऐप ग्रुप में जोड़ लिया गया। ग्रुप की प्रोफाइल में ICICI बैंक के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स की तस्वीर लगी थी। यहीं पर विनीता पटोदिया नामक युवती ने लक्ष्मीनारायण से संपर्क किया और खुद को बैंक डायरेक्टर की सहायिका बताया।

फर्जी ऐप से निवेश का भ्रम

विनीता ने प्ले स्टोर से ICICI Direct नाम का ऐप डाउनलोड करवाया और उसमें शुरुआती निवेश करवाया। शुरुआत में दोगुना लाभ दिखाया गया, जिससे लक्ष्मीनारायण को विश्वास हो गया। कुछ दिनों बाद विनीता ने उन्हें IPO में निवेश का सुझाव दिया, जिसे पहले तो लक्ष्मीनारायण ने ठुकरा दिया, लेकिन फिर भी उनके नाम पर IPO में आवेदन कर दिया गया।

लोन लेकर किया निवेश

ठगों ने बताया कि 80 लाख के शेयर उन्हें कम कीमत पर मिल सकते हैं, बशर्ते वे कम से कम 60 लाख रुपये जमा करें। इस झांसे में आकर पीड़ित ने पहले से 30 लाख जमा किए और फिर 27 लाख का लोन लेकर पूरी राशि दी। जब लाभ नहीं मिला और रकम वापस निकालनी चाही, तो संदेह हुआ। ICICI बैंक में जाकर पूछताछ करने पर उन्हें ठगी का एहसास हुआ।

साइबर सेल ने दर्ज किया केस

ठगी की पुष्टि होने पर लक्ष्मीनारायण ने भोपाल साइबर क्राइम सेल में शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया है और अब ठगों के डिजिटल सुरागों के आधार पर जांच शुरू कर दी गई है। अधिकारी लोगों से अपील कर रहे हैं कि किसी भी निवेश से पहले बैंक से पुष्टि अवश्य करें और अनजान ऑनलाइन ग्रुप या ऐप पर भरोसा न करें।

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