‘राजनीतिक माहौल दूषित करने के लिए ED की छापेमारी’; कांग्रेस

रायपुर.

छत्तीसगढ़ में ईडी की छापेमारी पर प्रदेश की सियासत गरमाई हुई है। बीजेपी और कांग्रेस एक दूसरे को घेरने में लगी हुई है। जमकर एक दूसरे पर निशाना साध रहे हैं। प्रदेश कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने आरोप लगाते हुए कहा कि भाजपा ने अपने सत्ता बल का दुरुपयोग कर केंद्रीय जांच एजेंसियों को भाजपा का मोर्चा, संगठन, बना दिया है। इसीलिये भाजपा की प्रमुख अनुषांगिक संगठन ईडी मोर्चा ने अपना चुनावी काम शुरू कर दिया है।

चुनाव में भारतीय जनता पार्टी कांग्रेस की लोकप्रियता का राजनैतिक रूप से मुकाबला नहीं कर पा रही है तो ईडी की छापेमारी करवा रही है। आज तक छत्तीसगढ़ में ईडी ने जितनी भी कार्यवाहियां की चाहे कथित शराब घोटाला हो या कोल घोटाला हो सब में ईडी ने केवल काल्पनिक आंकड़े जारी किया किसी भी आरोप का ईडी के पास कोई प्रमाण नहीं था सिवाय काल्पनिक आंकड़ों के। प्रदेश कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष ने कहा कि  ईडी के द्वारा कुछ राइस मिलर्स और व्यापारियों पर छापा मारा गया है। ईडी की ओर से छत्तीसगढ़ में कभी कांग्रेस नेताओं पर, कभी ट्रांसपोर्टर पर, कभी अधिकारियों पर और अब राइस मिलर एवं व्यापारियों पर छापे की कार्यवाही से छत्तीसगढ़ में भय और भ्रम का माहौल बनाने का दुष्प्रयास किया जा रहा है। ईडी की कार्यवाही हमेशा से सवालो के घेरे में रही है। सुप्रीम कोर्ट ने ईडी के छत्तीसगढ़ में दुर्भावना पूर्वक कार्यवाही पर तीखी टिप्पणी करते हुये कहा था कि- “ईडी अपने कामकाज में पारदर्शी और निष्पक्ष रहें, प्रतिशोधी ना बने” सर्वोच्च न्यायालय ने ईडी के खिलाफ दी गई लगातार टिप्पणियों से यह पूरी तरह स्पष्ट है कि अपने राजनैतिक वजूद को बचाने भाजपा ईडी का दुरुपयोग कर राज्य सरकार की छवि खराब करने में लगी है। पिछले पांच साल में छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार के ऊपर भाजपा 1 रू. का भी प्रमाणित भ्रष्टाचार का आरोप लगा नहीं पाई है तो अधिकारियों, व्यापारियों के यहां छापेमारी कर दूषित वातावरण बनाया जा रहा है।

प्रदेश कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रधानमंत्री और इन्फोर्समेंट डायरेक्टर को पत्र लिखकर नान और चिटफंड घोटाले की जांच कराने का अनुरोध किया था। ईडी, आईटी नान घोटाले, चिटफंड घोटाले, पनामा पेपर के अभिशाक सिंह की जांच क्यों नहीं करती है? नान गरीबों के राशन में 36,000 करोड़ का डाका डाला गया है, जब इतनी बड़ी रकम का लेनदेन हुआ है, नान डायरी में सीएम सर, सीएम मैडम, ऐश्वर्या रेसीडेंसी वाली मैडम जैसे दर्जनों नामों का उल्लेख है जिनका मोटी-मोटी रकम देने का भी उल्लेख है। ऐसे में इस अवैध लेनदेन की जांच ईडी क्यों नहीं करती है?

सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि ईडी की कार्यवाही पर भाजपा ज्यादा मत उछले विधानसभा चुनावों में मतदान केन्द्रों पर ईडी के अधिकारी वोट दिलाने नहीं आयेंगे। छत्तीसगढ़ में राजनैतिक रूप से रसातल में पहुंच चुकी भाजपा सोच रही है कि ईडी की कार्यवाही करवा कर वह कांग्रेस का मुकाबला कर लेगी तो वह मुगालते में है। ईडी की कार्यवाही करके वह राज्य सरकार को बदनाम करने की साजिश रच रही है लेकिन छत्तीसगढ़ की जनता भली भांति समझ चुकी है कि ईडी की कार्यवाही भाजपा के राजनैतिक प्रतिशोध का हिस्सा है। छत्तीसगढ़ में भाजपा मुख्यमंत्री भूपेश बघेल द्वारा चलायी जा रही सरकार और उनकी योजनाओं का राजनैतिक रूप से मुकाबला नही कर पा रही है। इसलिये मुख्यमंत्री की छवि खराब करने की और सरकार की छवि खराब करने के लिये भाजपा छत्तीसगढ़ में केन्द्रीय एजेंसियो का दुरूपयोग कर रही है।

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